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Acts 11.18

  
18. यह सुनकर, वे चुप रहे, और परमेश्वर की बड़ाई करके कहने लगे, तक तो परमेश्वर ने अन्यजातियों को भी जीवन के लिये मन फिराव का दान दिया है।।